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हाकिम हो, चपरासी हो नेता हो, व्यापारी हो मंत्री हो, दरबारी हो चाहे रंगरुट सिपाही हो। नर हो या फिर नारी हो लम्बे बाल, दाढ़ी हांे आमद जिसकी गाढ़ी हो कद जितना भी भारी हो। बनिया हो, मारवाड़ी हो ब्राहमण हो या हाड़ी हो सड़क हो या फांड़ी हो सूट हो या फिर साड़ी हो। शासन में कड़ाई हो आर-पार की लड़ाई हो दुश्मन की सफाई हो शासक की बड़ाई हो। हो सीना चैड़ा सबका चोरों की पिटाई हो काले धन पर राजनीति की सर्जिकल स्ट्राईक हो।