साथ अब ना रहब कहत बानी
बात अब ना सहब कहत बानी
फेर लागल तवन हटल नइखे
हाथ अब ना धरब बहत बानी
घाट अब ना मिली त का होई
पास अब ना सटब बहत बानी
लोर में डूब के सथा गइलीं
तीर अब लाग के रहत बानी
पेट के आग बा कि जाई ना
काट अब लाफ के रहत बानी।
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